(चित्र गूगल से साभार)
वागीश्वरी ! हे हंसासना माँ !
अर्चन तेरा ,हम करें साधना माँ !
तू स्वर की जननी , सुरों से सजा दे
चलें जिसपे वो सत्य का पथ दिखा दे
निराशा के छाने लगें जब अँधेरे
आशा की किरणें हृदय में जगा दे
उजालों की तुझसे करें याचना माँ !
अर्चन तेरा ••••••
दुखी , तप्त जीवन को खुशियों से भर दे
जला ज्ञान का दीप उजियार कर दे
बजे राग-वीणा , हो हर साँस रसमय
स्वर लेखनी को तू इतना मधुर दे
मिलकर करें तेरी आराधना माँ !
अर्चन तेरा हम करें ••••••
जगत के लिए हो जो कल्याणकारी
निष्ठा रहे नित उसी में हमारी
मिटे वैर, माँ द्वेष का लेश हो न
परस्पर कहीं भी कोई क्लेश हो न
सदा स्नेह से हो भरी भावना माँ !
अर्चन तेरा हम करें साधना माँ
वागीश्वरी ! हे हंसासना माँ !
अर्चन तेरा ,हम करें साधना माँ !
डॉ ज्योत्स्ना शर्मा
वसंत पंचमी
जय माँ शारदे 🙏
ReplyDeleteवसंत पंचमी की हार्दिक शुभकामनाएँ !
बहुत ही सुंदर गीत 👌👌
ReplyDeleteवसंत पंचमी की हार्दिक शुभकामनाएँ
बहुत आभार सखी 🌹🙏
Deleteहृदय से आभार आपका 🙏
ReplyDeleteअति-सुंदर, अति-प्रशंसनीय वंदना मां शारदा की । कोटि-कोटि अभिनंदन इस कालजयी सृजन के लिए ।
ReplyDeleteसुन्दर, प्रेरक प्रतिक्रिया के लिए हृदय से आभार आपका 🙏
Deleteआपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल बुधवार (17-02-2021) को "बज उठी वीणा मधुर" (चर्चा अंक-3980) पर भी होगी।
ReplyDelete--
सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
--
बसन्त पञ्चमी की हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
--
सुन्दर,प्रेरक उपस्थिति के लिए हृदय से आभार आपका 🌻🙏🌻
Deleteमनभावन और माँ सरस्वती का गुणगान एवं निवेदन करती कृति
ReplyDelete. मेरे ब्लॉग पर आपका हार्दिक स्वागत है..
सुन्दर प्रेरक प्रतिक्रिया सहित उपस्थिति के लिए हृदय से आभार जिज्ञासा जी 🌻🙏🌻
ReplyDeleteबहुत ही सुंदर गीत । वसंत पंचमी की शुभकामनाएँ ।
ReplyDeleteस्नेहसिक्त उपस्थिति के लिए हृदय से आभार आपका 🙏
Deleteबहुत अच्छी प्रार्थना
ReplyDeleteसुन्दर, प्रेरक प्रतिक्रिया के लिए हृदय से आभारी हूँ 🙏
Deleteबहुत सुंदर वंदना
ReplyDeleteहार्दिक धन्यवाद आपका , जय माँ शारदे 🙏
ReplyDeleteमाँ सरस्वती का गुणगान एवं निवेदन करती वंदना
ReplyDeleteहृदय से आभार संजय जी, जय माँ शारदे 🙏
ReplyDeleteबहुत सुन्दर स्तुति
ReplyDeleteहृदय से आभार आपका 🙏
Deleteहार्दिक धन्यवाद 🙏
ReplyDeleteअति सुंदर सृजन, पढ़कर हृदय आनन्दित हो गया
ReplyDeleteहृदय से आभार सुनीता जी, जय माँ शारदे 🙏
Delete